जाने खुद को मोटिवेटेड (प्रेरित) कैसे रखें और लाइफ में मोटिवेशन (प्रेरणा) क्यूँ जरुरी है?

इस ब्लॉग में जाने खुद को मोटिवेटेड (प्रेरित) कैसे रखें और लाइफ में मोटिवेशन (प्रेरणा) क्यूँ जरुरी है?

मोटिवेशन (प्रेरणा) क्यूँ जरुरी है?

आपको भी कभी-कभी ऐसा लगता होगा कि इस दुनिया में हर तरफ मायूसी और परेशानी है! लोग हमेशा चिंता (एंग्जायटी)अवसाद (डिप्रेशन) जैसी मानसिक बीमारियों से पीड़ित हैं! हर तरफ उलझनें और पीड़ा है!

वैसे तो इन हालातों में भिन्न भिन्न प्रकार की चीजें लोगों के काम करने के लिए बनाई जा रही हैं। टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल अच्छे तरीके से हो रहा है ताकि लोग फायदा उठाएं लेकिन अभी भी कुछ कमी सी है! वो ये है कि समाज के लोगों को मायूसी और मानसिक पीड़ा से निकालने के लिए एक ऐसी सोच पैदा करने की जरूरत है जो उन्हें उदास और मायूसी के अंधेरों से निकालकर उम्मीद की रोशनी दिखाएं। ये कैसे कर सकते हैं? जवाब है मोटिवेट (प्रेरित) होकर! 

जी हाँ, किसी भी काम को करने के लिए मोटिवेशन (प्रेरणा) अनिवार्य है। बिना मोटिवेशन के व्यक्ति कोई भी काम आसानी से नहीं कर सकता। 

हम इंसान सुबह उठने से लेकर रात को आंख बंद करने तक ना जाने कितने विचार अपने मस्तिष्क में लाते हैं और वे पल भर में बदल भी जाते हैं। हमारी आंखें, कान, नाक, हमारा मुंह, हमारी मानसिकता, मस्तिष्क में विचार और हृदय में जितनी भी बातें होती हैं सब के सब व्यक्ति पर अपना असर दिखाती हैं। 

हम जो देखते हैं, जो सुनते हैं और जो बोलते हैं हमारी सोच का उस पर बहुत असर होता है। यहां तक कि जो कुछ हम सोचते हैं वह भी हमारे मस्तिष्क पर असर डालती हैं। ये सारी चीजें हमारे मूड को बदलने की ताकत रखती हैं। 

व्यक्ति चाहे जितना भी ताकतवर, शक्तिशाली या उसूलों का पाबंद और पक्का हो इन तमाम चीजों से असर पाए बिना नहीं रह सकता। वह चीजों से बहुत ज्यादा मुतासिर या प्रभावित होता है। इसीलिए इन तमाम चीजों पर नियंत्रण पाने के लिए व्यक्ति का मोटिवेट रहना बहुत जरूरी है। 

आज के इस उपदेश में हम मोटिवेशन (प्रेरणा) से संबंधित कुछ बातें करेंगे जिससे लोग मोटिवेट होकर अपनी जिंदगी को अच्छे तरीके से व्यतीत करें। तो आइए इसके बारे में चर्चा करते हैं और देखते हैं कि हम खुद को मोटिवेट (प्रेरित) कैसे रख सकते हैं। 

खुद को मोटिवेट (प्रेरित) कैसे रख सकते हैं?

  • हर व्यक्ति को चाहिए कि वह दूसरों पर निर्भर ना रहे। जो व्यक्ति खुद पर निर्भर रहता है वह अपना काम आसानी से कर सकता है। उसे किसी भी तरीके की दुश्वारियां नहीं होती। परंतु व्यक्ति अगर दूसरों पर निर्भर है तो उसका काम सही वक्त पर सही ढंग से नहीं हो सकता। इसीलिए ज्यादातर कोशिश करें कि आप खुद पर ही निर्भर रहें। खुद से बातचीत करना बहुत जरूरी है। यह सुनने में तो अजीब लग रहा होगा और आप सोच रहे होंगे कि यह तो पागलपंती है परंतु नहीं, ऐसा नहीं है। दिन भर में एक बार खुद को समय दें और खुद से सवाल करें कि आप क्या चाहते हैं? आप इस दुनिया में क्या करने आये हैं? और आपको क्या चीज करना पसंद है? इस तरह करने से आप मोटिवेट हो सकते हैं। इससे काम करने में मोटिवेशन (प्रेरणा) मिलती है।
  • हमेशा छोटे छोटे लक्ष्य बनाकर उस पर काम शुरू करें। यह जरूरी नहीं है कि हमेशा बड़े लक्ष्य ही बनाएँ बल्कि हमें हमेशा छोटे स्तर से ही काम शुरू करना चाहिए। कई बार ऐसा होता है कि बड़े गोल (लक्ष्य) को हासिल करना नामुमकिन होता है। इसलिए हमें धीरे धीरे छोटे छोटे गोल बनाकर बड़े स्तर पर पहुँचना चाहिए ताकि हम कामयाबी हासिल कर सकें।
  • छोटी-छोटी बातों पर खुश होना सीखें। ऐसा जरूरी नहीं कि हमेशा हमें किसी बड़ी बात पर ही खुशियां मनानी चाहिए, बल्कि छोटी-छोटी बातों से खुशी प्राप्त करने से भी हमें बहुत मोटिवेशन मिल सकती है। इससे हम अपना काम आसानी से कर सकते हैं।
  • हमेशा सकारात्मक विचार रखना चाहिए। यह मोटिवेशन(प्रेरणा) प्राप्त करने का एक अचूक तरीका है। हमें नकारात्मक विचार और नकारात्मक लोगों से दूर रहना चाहिए। हमेशा ऐसे दोस्त बनाएं और ऐसे लोगों के साथ रहें जो आपको सकारात्मक उपचार देते हों और आपकी हौसला अफजाई करते हों।
  • अपने से जुड़े लोगों की हमेशा तारीफ करें और हो सके तो इनाम दें। तारीफ करने और इनाम देने से बहुत मोटिवेशन प्राप्त होती है। किसी भी व्यक्ति के काम की सराहना करना चाहिए। ये उसे और अच्छा करने की तरफ बढ़ाने में काफ़ी महत्वपूर्ण है। यह मोटिवेशन में बहुत कारगर होता है। हौसला अफजाई करने से व्यक्ति के अंदर एक ऐसी उर्जा उत्पन्न होती है जो उसे काम करने में फायदा देती है।

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  • दूसरों की मदद करें। दूसरों की मदद करने से व्यक्ति को जो खुशी मिलती है और उससे जो मोटिवेशन हासिल होता है वह एक अजीब ही खुशी देती है इसलिए हमेशा दूसरों की मदद करना चाहिए।
  • हर रोज मेडिटेशन करना चाहिए। मेडिटेशन (meditation) करने से मोटिवेशन प्राप्त होती है। यह काम को करने में बहुत ज्यादा फायदेमंद देता है।
  • मोटिवेशनल स्पीच सुनें। यूट्यूब या कई ऐसी किताबें हैं जो व्यक्ति को मोटिवेट करने में सक्षम होती हैं। इसलिए व्यक्ति को मोटिवेट होने के लिए मोटिवेशनल स्पीच सुनना चाहिए परंतु इस बात का ख्याल रखें कि हमें उन पर निर्भर नहीं रहना चाहिए। ऐसा देखा गया है कि जो लोग मोटिवेशनल स्पीच सुनते हैं या यूट्यूब पर कहानियां देखते हैं वह उनमें बस कुछ समय के लिए ही रहती है। इसलिए इस बात का ख्याल रखें कि अपने अंदर मोटिवेशन आप स्वयं पैदा करें ताकि आपको बाहर से मोटिवेशन लेने की जरूरत ना पड़े।
  • खुद की कामयाबियों को याद करें। आत्म विश्वास बनाए रखें और खुद को दूसरों से कम ना समझें। हमेशा ये बात याद रखें कि हर व्यक्ति दूसरे व्यक्ति से अलग है। हर व्यक्ति के अंदर कुछ ना कुछ खास बात जरूर है। अपनी खासियत को पहचाने और वह काम करें जिसमें आप अच्छे हैं।
  • हर रोज सुबह उठकर व्यायाम करें। सुबह की ठंडी हवा व्यक्ति को तरोताज़ा कर देती हैं। इससे उसका पूरा दिन अच्छे से काम में मन लगाकर ही व्यतीत होता है और व्यक्ति मोटिवेट होता है।
  • हर रोज अपने धर्म के अनुसार पूजा पाठ करें या नमाज़ पढ़ें। आस्था एक बड़े स्तर पर मोटिवेशन पैदा करती है। इससे मन भी प्रसन्न होता है। इससे व्यक्ति के अंदर बहुत अच्छी मोटिवेशन पैदा होती है।
  • याद रखें कि ज़रूरत से ज़्यादा सामाजिक होने की जरूरत नहीं है और ज़रूरत से ज़्यादा दोस्त बनाने की भी आवश्यकता नहीं है। यदि आप कामयाब होना चाहते हैं तो ज्यादा लोगों से ना घुले मिलें। बस अपने मकसद पर नजर रखें और मेहनत करें।
  • सुबह जल्दी उठने और रात को वक्त पर समय पर सोने की आदत डालें
  • अपने पसंदीदा कामों को करें। व्यक्ति को हमेशा वह काम करना चाहिए जो उसे पसंद हो। यदि वह अपनी पसंद के अनुसार काम करेगा तो उसे मोटिवेशन मिलेगी और जो व्यक्ति अपनी पसंद का काम नहीं करता उसको मोटिवेशन नहीं मिल पाती।
  • मोटीवेशन हमेशा अपने अंदर से तलाश करना चाहिए। किसी भी व्यक्ति को इतना मायूस नहीं होना चाहिए और ना ही दूसरों पर इतना निर्भर रहना चाहिए कि वह बाहर से मोटिवेशन प्राप्त करे। व्यक्ति को अपने अंदर से मोटिवेशन तलाश करना चाहिए।
  • खुद से झूठ बोलना कई बार बहुत फायदेमंद होता है। यदि व्यक्ति जान रहा है कि वह किसी काम को करने में सक्षम नहीं है परंतु वह बार बार अपने दिल में इस बात को कह रहा है कि वह यह काम कर सकता है, तो इस तरीके से उसको बहुत मोटिवेशन प्राप्त होगी और वह काम को आसानी से कर लेगा।
  • मुसीबतों से भागना नहीं चाहिए। हमेशा मुसीबतों का सामना सहनशीलता से करना चाहिए। डटकर मुकाबला करना चाहिए।
  • हमेशा चिंता मुक्त रहना चाहिए। किसी भी काम को सिर पर ना सवार करें बल्कि हमेशा यह सोचें कि यह काम हो जाएगा।
  • दूसरों से ज्यादा खुद को वक्त दें और खुद के कार्यों को करें। यदि आपके पास समय नहीं है तो लोगों से ना कह दें। दूसरों का बोझ अपने सिर पर ना लें।

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  • लोगों की राय के मुताबिक नहीं बल्कि, खुद को अपनी राय के मुताबिक जाँचें व परखें।
  • अपने अंदर अपने मकसद को हासिल करने के लिए एक तड़प पैदा करें।
  • पोषण से भरपूर आहार लें क्योंकि हमारे मस्तिष्क में जब एक पोषण से भरपूर मात्रा वाला खाना जाएगा तो हमारे मस्तिष्क से सकारात्मक विचार उत्पन्न होंगे। इसीलिए अपने खाने में हरी सब्जियों, दूध, दही और फल का सेवन शामिल करें। जंक फूड से दूर रहें।
  • हमेशा मेहनत करते रहें। मेहनत करने से व्यक्ति बहुत ऊंचे मुकाम पर पहुंच सकता है। यदि वह हार मान कर बैठ गया तो है कभी कामयाब नहीं होगा। हमेशा कामयाबी के पीछे मेहनत होती है। इस बात को याद रखें कि कभी ना कभी उसका फल उसे जरूर प्राप्त होगा।

निष्कर्ष / Conclusion

कामयाब जिंदगी जीने के लिए कुछ काम करना जरूरी है और उसके लिए व्यक्ति को मेहनत करना बहुत ही अनिवार्य है। अपने सपनों पर काम करना, मुश्किल फैसले लेना, अपने डर को खत्म करना, यह सब काम उसी समय हो सकता है जब हम मोटिवेट रहें, और हमेशा ऊर्जा से भरा रहें। 

यदि हम मायूस हैं तो हम कोई भी काम नहीं कर सकते इसीलिए हमें हमेशा मोटिवेटेड रहना चाहिए।

एक बात का खास खयाल रखें कि जो लोग अपनी जिंदगी में उलझनों का शिकार हैं, जिन्हें यह मालूम नहीं कि उन्हें जिंदगी में किस तरह आगे बढ़ना है तो उन्हें किसी भी मोटिवेशन या हौसला अफजाई की जरूरत नहीं बल्कि उन्हें जागरूकता की जरूरत है। उन्हें खुद को जागरुक करने और अपने इरादों में पक्के होने की जरूरत है। उन्हें जरूरत है तो इस बात की कि वे खुद को बदलें।

अगर आप अपनी साधा जिंदगी से खुश है तो यह अलग बात है परंतु यदि आप एक अच्छी जिंदगी व्यतीत करना चाहते हैं तो इसके लिए आपको चाहिए कि आप उठ खड़े हों और फौरन उस पर काम शुरू कर दें। बिना मेहनत के व्यक्ति कामयाब नहीं हो सकता।

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  • Deepak

    Deepak is an engineering graduate with a passion for health and wellness. Leveraging his technical expertise, he write about topics like healthy living, nutritious food, self-care, mental well-being etc. With a focus on evidence-based practices, Deepak aims to inspire others to lead balanced and healthier lives through their writing.

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